प्रिय दोस्तों! हमारा उद्देश्य आपके लिए किसी भी पाठ्य को सरलतम रूप देकर प्रस्तुत करना है, हम इसको बेहतर बनाने पर कार्य कर रहे है, हम आपके धैर्य की प्रशंसा करते है| मुक्त ज्ञानकोष, वेब स्रोतों और उन सभी पाठ्य पुस्तकों का मैं धन्यवाद देना चाहता हूँ, जहाँ से जानकारी प्राप्त कर इस लेख को लिखने में सहायता हुई है | धन्यवाद!

Tuesday, June 2, 2020

क्या आकाश उतर आया है - kya aakaash utar aaya hai -- माखनलाल चतुर्वेदी - Makhan Lal Chaturvedi #www.poemgazalshayari.in

क्या आकाश उतर आया है
दूबों के दरबार में
नीली भूमि हरि हो आई
इस किरणों के ज्वार में।

क्या देखें तरुओं को, उनके
फूल लाल अंगारे हैं
वन के विजन भिखारी ने
वसुधा में हाथ पसारे हैं।

नक्शा उतर गया है बेलों
की अलमस्त जवानी का
युद्ध ठना, मोती की लड़ियों
से दूबों के पानी का।

तुम न नृत्य कर उठो मयूरी
दूबों की हरियाली पर
हंस तरस खायें उस-
मुक्ता बोने वाले माली पर।

ऊँचाई यों फिसल पड़ी है
नीचाई के प्यार में,
क्या आकाश उतर आया है
दूबों के दरबार में?

-  माखनलाल चतुर्वेदी - Makhan Lal Chaturvedi
#www.poemgazalshayari.in

No comments:

Post a Comment

कौन सा AI किस काम के लिए Best है? – एक बार समय निकाल कर जरुर पढ़ें By Ambika Rahee

15 Best AI Tools in 2025 | कौन सा AI किस काम के लिए Best है? – एक Complete Guide By Ambika Rahee कौन सा AI क...